शनिवार, 24 मार्च 2018

क्या आपके मोबाइल में स्कैनर है?

यदि कोई आपसे कहता है कि फलां डॉक्यूमेंट की कॉपी भेजिए। तो आप क्या करते हैं? 

आपका सामान्य सा पहला रिएक्शन होता है कि आप उस डॉक्यूमेंट का मोबाइल कैमरे से फोटो क्लिक करके भेज देते हैं। 

क्या फोटो क्लिक करके भेजे गए डॉक्यूमेंट की इमेज साफ-सुथरी होती है? 

जी नहीं।

मोबाइल कैमरे से फोटो क्लिक करके भेजी गई इमेज में वह स्वच्छता नहीं आती है जैसे कि मूल डॉक्यूमेंट की होती है।

यह हो सकता है कि जब आप ऑफिस में होते हैं तो उस डॉक्यूमेंट को स्कैनर के माध्यम से स्कैन करके भेज सकते हैं। स्कैनर के माध्यम से स्कैन किया हुआ डॉक्यूमेंट कमोबेश मूल डॉक्यूमेंट की तरह ही क्लियर होता है। परन्तु यदि आप ऑफिस से बाहर हैं या दौरे पर हैं तो क्या करेंगे? वहां स्कैनर की सुविधा तो उपलब्ध नहीं होगी तो आप स्वभाववश उस डॉक्यूमेंट को फोटो क्लिक करके भेज देते हैं। इसका मुख्य कारण है कि आपके मोबाइल में स्कैन करने की सुविधा उपलब्ध नहीं है।

आप जानते होंगे कि एंड्रॉयड मोबाइल के पुराने संस्करण में स्कैन करने की सुविधा उपलब्ध नहीं है जबकि नए संस्करण में इसकी उपलब्धता सुनिश्चित कर ली गई है। अब बात आती है कि जिनके पास पुराने संस्करण के एंड्रॉयड मोबाइल फोन हैं वो स्कैनर की सुविधा कैसे पाएं। 

उन लोगों के लिए मेरा सुझाव है कि वे कैम स्कैनर (Cam Scanner) ऐप डाउनलोड करके स्कैन की सुविधा का लाभ उठा सकते हैं। इस कैम स्कैनर का उपयोग कई लोग कर रहे हैं। यह कैसे डाउनलोड होगा और इस ऐप में क्या-क्या सुविधाएं हैं? इस विषय पर ही आज का मेरा यह पोस्ट समर्पित है।

कैम स्कैनर ऐप वह टूल है जो आपको स्कैन करने की सुविधा उपलब्ध कराता है। इसके माध्यम से पोस्टर, कॉन्ट्रैक्ट्स, स्लाइड्स, पत्रिकाएं ... जो कुछ भी आप सहेजना चाहते हैं, संपादित करना चाहते हैं, उसे कर सकते हैं। इसमें ओसीआर (ऑप्टिकल कैरेक्टर रिकग्निशन) की सुविधा उपलब्ध है। 

कैम स्कैनर ऐप आपको हार्डकापी से चित्रों से शब्द निकालने के बाद, उन्हें एक्सपोर्ट करने में सुविधा प्रदान करता है। आप इसे संपादित (एडिट) भी कर सकते हैं। आप चाहें तो स्कैन किए हुए डॉक्यूमेंट को जेपीजी फार्मेट में या पीडीएफ फार्मेट में सेव करके किसी को भी भेज सकते हैं। जैसा कि आपको पहले ही बताया गया है कि आप चाहें तो इस स्कैन किए हुए डॉक्यूमेंट को संपादित भी कर सकते हैं। 

तो आइए। बताते हैं कि इस ऐप को अपने मोबाइल में कैसे डाउनलोड करें और इसे कैसे यूज करें। सबसे पहले हम प्ले स्टोर (Play Store) पर जाते है। इसे टेप (Tape) करते हैं।







प्ले स्टोर के एड्रेस बार में कैम स्कैनर (Cam Scanner) टाइप करते हैं। टाइप करते ही आपको स्कैनर ऐप की एक सूची दिखाई देती है। इसमें आपको CS वाले आइकन पर टेप करके इसे डाउनलोड यानी इंस्टाल करना है।

ऐप इंस्टाल होने के बाद इसके ओपेन वाले बटन पर टेप करना है।





यह ऐप खुलनेके बाद आपको रजिस्ट्रेशन करने के लिए कहता है। यदि आपने पहले से किसी मोबाइल में इस ऐप को रजिस्टर कर लिया है तो उसी खाते से साइन इन कर सकते हैं। अन्यथा इसे रजिस्टर करने के लिए रजिस्टर बटन पर टेप करें।

इस ऐप को रजिस्टर करने के लिए अपना ईमेल या मोबाइल नंबर टाइप करने के बाद पासवर्ड टाइप करना होता है। ईमेल/मोबाइल नंबर और पासवर्ड टाइप करने के बाद साइन इन पर टेप करें।


साइन इन होने के बाद आपका माई डॉक्यूमेंट खुल जाता है। इसमें नीचे दाई ओर एक कैमरा होता है, जिसके माध्यम से आप किसी भी डॉक्यूमेंट, पोस्टर, कॉन्ट्रैक्ट्स, स्लाइड्स, पत्रिका आदि को स्कैन कर सकते है।

स्कैन करने के बाद आप इस सामग्री को कहीं भेजना हो तो सबसे ऊपर दाई ओर बने लम्बवत् तीन डॉट के एकदम दाएं आइकन पर टेप करें। जैसे ही आप टेप करते हैं, यह आपसे पूछेगा कि आप इस डॉक्यूमेंट को किस फार्मेट में शेयर करना/भेजना चाहते हैं- टैक्सट फाइल में, या पीडीएफ फाइल में, या ईमेल (जेपीजी) में। आपको जिस फार्मेट में यह डॉक्यूमेंट भेजना हो, उस फार्मेट का चयन एक टेप के माध्यम से कर सकते हैं। 
इस डॉक्यूमेंट को आप ईमेल, व्हाट्सऐप आदि के माध्यम से भेजा जा सकता है।

सबसे ऊपर दाई ओर बने लम्बवत् तीन डॉट पर टेप करके आप अपने डॉक्यूमेट की पीडीएफ सेटिंग निर्धारित कर सकते हैं, रीनेम पर टेप करके डॉक्यूमेंट का एक नाम दे सकते हैं। इसके अलावा भी कई फील्ड तय कर सकते हैं।

आप पाएंगे कि इस स्कैनर ऐप के माध्यम से भेजे गए डॉक्यूमेंट की गुणवत्ता आपके कैमरे से खींचे गए चित्र की गुणवत्ता से कई गुणा बेहतर है। मैं आपको बता दूं कि इसका इस्तेमाल मैं स्वयं कर रहा हूं, इसलिए मेरा सुझाव है कि आप भी इस स्कैनर ऐप का इस्तेमाल करें और अपने अनुभव से हमें अवश्य अवगत कराएं।

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शनिवार, 17 मार्च 2018

कंप्यूटर की वर्चुअल मैमोरी कैसे बढ़ाएं?

वर्चुअल मैमोरी आपके कंप्यूटर के कार्यनिष्पादन के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण कारक है। इस पोस्ट में मैं आपको इसी वर्चुअल मैमोरी के बारे में आपकी अपनी मातृभाषा हिंदी में सरलतम तरीके से बताने का प्रयास करूंगा। मैं अपने इस प्रयास में कितना सफल रहा? कृपया इस पर अपनी टिप्पणी से मेरा उत्साहवर्धन करने का कष्ट कीजिएगा। 


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तो हम आज के विषय “कंप्यूटर की वर्चुअल मैमोरी कैसे बढ़ाएं?” पर आते हैं। 

वर्चुअल मैमोरी होती क्या है? 

दरअसल वर्चुअल मैमोरी किसी ऑपरेटिंग सिस्टम (OS) की मैमोरी क्षमता होती है जो आपके कंप्यूटर के रैम (RAM) से HDD में डाटा को अस्थाई रूप से ट्रांसफर करते समय फिजिकल मैमोरी की कमी को पूरा करता है। 

जब हम कंप्यूटर में एक साथ कई अनुप्रयोगों (Applications) को खोलकर काम करते हैं तो आप महसूस करते होंगे कि आपके कंप्यूटर की गति कम हो गई है। जबकि केवल किसी एक अनुप्रयोग को खोलकर काम करने पर यह समस्या नहीं आती है। ऐसा क्यों होता है? कई अनुप्रयोगों को एक साथ खोलकर काम करने पर कंप्यूटर के वर्चुअल मैमोरी की कार्यक्षमता में अनावश्यक बोझ बढ़ जाने के कारण ही ऐसा होता है। 

हम वर्चुअल मैमोरी कार्यक्षमता को बढ़ा सकते हैं। 

यह कैसे होगा? 

क्या यह हम स्वयं कर सकते हैं? 

जी हां। आप स्वयं कर सकते हैं। आइए जाने। कैसे? 

यदि आप विडोज 7 के प्रयोक्ता हैं तो सबसे पहले Start पर जाएं- 


इसके बाद Control Panel पर क्लिक करें। 

इसके बाद System पर क्लिक करें। 

इसके पश्चात Advanced System Setting पर क्लिक करें। 

इसके पश्चात आपके इसके Performance के Setting पर क्लिक करें। 


Performance Option में तीन विकल्प दिए गए हैं- Visual Effects, Advanced और Data Execution Prevention. आपको Advanced पर क्लिक करके Virtual Memory में डिफॉल्ट में निर्धारित Total paging file size for all drives का साइज को बदलने के लिए Change पर क्लिक करना है। 

सबसे पहले ऑटोमैटिकली पेज निर्धारण साइज के सामने बने चैक को अनचैक करें। आप इसमें देखेंगे कि Minimum allowed – 16 MB, Recommended – 1521 MB और Currently allocated – 1024 MB दिया हुआ है। 
इसे आप Custom size में जाकर Recommended में दी गई साइज यानी 1521 MB को Intial size और Maximum size दोनों बाक्स में टाइप करके Set पर क्लिक कर दें। 

Set पर क्लिक करते ही आपको एक मैसेज आएगा कि जैसाकि आपने इसमें परिवर्तन किया है वह कंप्यूटर रिस्टार्ट करने पर परिवर्तित हो जाएगा। आप परिवर्तन चाहते हैं तो OK बटन पर क्लिक कर दें। 
लीजिए! जब आपका कंप्यूटर पुनः खुलेगा तो आपके कंप्यूटर की वर्चुअल मैमोरी आपकी अपेक्षानुसार बढ़ जाएगी। 

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शुक्रवार, 16 मार्च 2018

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मित्रों की बेहद मांग पर मेरा यूट्यूब चैनल आपके समक्ष है। 


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शनिवार, 10 मार्च 2018

कंप्यूटर की-बोर्ड एवं माउस लॉक कैसे करें

मेरे कई मित्रो ने मुझसे सुझाव मांगा है कि ऑफिस में या घर पर वे कंप्यूटर पर कुछ महत्वपूर्ण कार्य कर रहे होते हैं और कार्य करने के दौरान ही उन्हें किसी आवश्यक कार्यवश थोड़ी देर के लिए कंप्यूटर छोड़कर जाना पड़ जाता है तो उनके मन में यह आशंका बनी रहती है कि कोई उनकी खुली फाइल के साथ छेड़छाड़ न कर दे। ऐसी आशंका से बचने के लिए वे क्या करें?

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ऐसे मित्रो के लिए मेरा स्पष्ट सुझाव है कि यदि वे चाहते हैं कि कोई भी व्यक्ति उनके कार्य को उनके कंप्यूटर छोड़कर जाने के बाद न तो देख सके और न ही उसमें कोई छेड़छाड़ कर सके तो वे कंप्यूटर छोड़ जाने से पूर्व Window key + L दबाकर विंडोज को लॉक करके ही जाएं। ध्यान रहे कि आपका कंप्यूटर पासवर्डयुक्त (Password Protected) होना चाहिए, ताकि कंप्यूटर को पुनः खोले जाने पर बिना पासवर्ड डाले न खुले।


इसके अलावा, यदि आपका कार्य गोपनीय किस्म का नहीं है और आप चाहते है कि कोई भी व्यक्ति उस कार्य को देख तो सके परन्तु उसे संपादित (एडिट) न कर सके या उसमें छेड़छाड़ न कर सके तो इसका एक ही विकल्प है कि आप की-बोर्ड और माउस की गतिविधियों को बंद कर दें। यानी स्क्रीन पर सामग्री दिख तो सके परन्तु माउस या की-बोर्ड के माध्यम से संपादित (एडिट) न हो सके। मतलब की-बोर्ड और माउस अपना काम करने में अक्षम हो जाए। 

मन में यह सवाल अवश्य उठता है कि यह कार्य कैसे होगा? 

क्या यह प्रणाली कंप्यूटर में इनबिल्ट है या किसी बाहरी सॉफ्टवेयर की मदद से होगा? 

अवश्य। यह सवाल उठना स्वभाविक है। आज का हमारा विषय भी यही है कि यदि आप चाहते है कि कोई भी व्यक्ति आपके कार्य को देख तो सके परन्तु उसे संपादित (एडिट) न कर सके या छेड़छाड़ न कर सके तो आपको की-बोर्ड और माउस की गतिविधियों को बंद करना होगा। यह सिस्टम कंप्यूटर में इनबिल्ट नहीं है, बल्कि इसके लिए आपको इंटरनेट पर उपलब्ध किसी सॉफ्टवेयर की मदद लेनी होगी। 

इंटरनेट पर इस कार्य के लिए वैसे तो कई सॉफ्टवेयर मौजूद हैं, जो आपके कंप्यूटर के की-बोर्ड और माउस को लॉक करके आपके कंप्यूटर में किए गए कार्य को अवांछित हस्तक्षेप से बचाता है। आइए! आज हम ऐसे ही एक सॉफ्टवेयर के बारे बताते हैः-

ब्लूलाइफ़ कीफ्रीज़ (BlueLife KeyFreeze)

जी हां। ब्लूलाइफ़ कीफ्रीज आपको यह सुविधा उपलब्ध कराएगा। इसे डाउनलोड करने के लिए नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करें। 


इसके बाद नीचे खुले विंडो में डाउनलोड पर क्लिक करें

जैसे ही क्लिक करते हैं तो वह डाउनलोड की लोकेशन पूछता है कि किस लोकेशन से आप यह सॉफ्टवेयर डाउनलोड करना चाहते हैं।

मेरा सुझाव है कि आप ऊपर दिए गए चित्र के अनुसार Softpedia Secure Download (US) के माध्यम से यह सॉफ्टवेयर डाउनलोड करें क्योंकि यह सुरक्षित और आसान है। इस लिंक पर क्लिक करने पर इस सॉफ्टवेयर (KeyFreeze) की जिप फाइल डाउनलोड हो जाएगी।
इस जिप फाइल को अनजिप करने के बाद इसके एप्लिकेशन फाइल पर क्लिक करना होता है।
जैसे ही एप्लिकेशन पर क्लिक करते तो खुली विंडो में आपको दो विकल्प मिलते हैं। पहला Extract All और दूसरा Run. यानी या तो आप इसे Extract All करें या इसे Run कराएं। 
पहला विकल्प Extract All का चयन करने पर यह सॉफ्टवेयर आपके कंप्यूटर में डाउनलोड हो जाएगा। इसे डाउनलोड करने के लिए अपने कंप्यूटर की लोकेशन दें जहां इस सॉफ्टवेयर को डाउनलोड करना चाहते हैं। डाउनलोड करने के बाद इसे रन करा दें। यदि आप इस सॉफ्टवेयर की पूरी फाइल को डाउनलोड किए बिना ही रन कराना चाहते हैं तो आप दूसरे विकल्प Run का चयन करें। 
सॉफ्टवेयर रन हो जाने के बाद यह आपके कंप्यूटर की सिस्टम ट्रे में ताले (Lock) के चित्र जैसा दिखाई देने लगेगा। इस इमेज (चित्र-1) पर माउस का राइट क्लिक करने पर एक मीनू (चित्र-2) प्रकट होता है। इसमें Option पर क्लिक करने एक नया विंडो (चित्र-3) खुलता है। इसमें आपको कई विकल्प दिखाई देंगे। वैसे डिफाल्ट में की-बोर्ड और माउस को लॉक या अनलॉक करने के लिए Ctrl + Alt + F एकसाथ दबाना होता है। मेरा सुझाव है कि आप इस Hotkey को अपने हिसाब से अवश्य बदल लें। आप चाहें तो अपने माउस पॉइंटर को भी छुपा (Hide कर) सकते हैं। इसके अलावा, आपने सिस्टम में यह विकल्प भी दे सकते हैं कि जब आपका सिस्टम फलां मिनट तक आइडल हो तो की-बोर्ड और माउस अपने आप लॉक हो जाएं। इन सब विकल्पों को परिवर्तित करने के बाद नीचे दिए गए बटन Apply Options पर जरूर क्लिक करें।
लीजिए! आपके कंप्यूटर में यह सॉफ्टवेयर सफलतापूर्वक काम करने लगा है। अब आप डिफाल्ट में बनी हॉटकी या आपके द्वारा बनाई गई हॉटकी के माध्यम से की-बोर्ड और माउस को लॉक करके निश्चित होकर अपने कंप्यूटर छोड़कर कहीं जा सकते हैं। कोई भी व्यक्ति आपकी सामग्री में छेड़छाड़ नहीं कर सकता है जब तक कि आप उसे हॉटकी (Hotkey) की जानकारी नहीं देते हैं। अनलॉक करने के लिए भी वही हॉटकी का प्रयोग किया जाएगा जो लॉक करने के लिए है।

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मंगलवार, 6 मार्च 2018

बिना झंझट करें पीडीएफ टैक्स्ट संपादित

क्या आप जानते हैं कि किसी पीडीएफ फाइल को बिना कोई अलग से सॉफ्टवेयर की मदद लिए एमएस वर्ड में खोला जा सकता है और उसे संपादित (एडिट) किया जा सकता है?



जी हां! एमएस ऑफिस 2013 एवं उसके बाद के संस्करण में यह सुविधा प्रदान करा दी गई है। आप एमएस वर्ड 2013 या उसके बाद के संस्करण से किसी पीडीएफ को वर्ड डॉक्यूमेंट में बदल सकते हैं। सबसे महत्वपूर्ण बात है कि आप उसे संपादित भी कर सकते हैं। 


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 एम.एस वर्ड में पीडीएफ फाइल को खोलने के लिए सबसे पहले एमएस वर्ड-2013 या उसके बाद के संस्करण की नई फाइल खोलें। इसमें फाइल मीनू पर क्लिक करें।





फाइल मीनू पर क्लिक करने के बाद ओपेन (Open) पर क्लिक करें। ओपेन (Open) में आपको रीसेंट डॉक्यूमेंट, वन ड्राइव-पर्सनल, कंप्यूटर एवं ऐड ए प्लेस चार बिंदु दिखाई देंगे। अब आपको यह देखना होगा कि आपकी वांछित पीडीएफ फाइल किस लोकेशन पर है। वैसे सामान्यरूप से फाइल कंप्यूटर के ही किसी ड्राइव में सुरक्षित (सेव) की जाती हैं। ब्राउज करके उस लोकेशन से वांछित पीडीएफ फाइल को वर्ड में खोलें। 






उदाहरण के रूप में हमने ओपेन के बाद कंप्यूटर, फिर ब्राउज करके कंप्यूटर की ‘एफ’ ड्राइव (मिसलेनियस) में मिसलेनियस फोल्डर में रखे सबफोल्डर RB’s Order में सुरक्षित विजीलेंस मैनुअल-2017 नामक पीडीएफ फाइल को सेलेक्ट करके नीचे दिए गए ओपेन (Open) टैब पर क्लिक करके फाइल को खोला है। 



जैसे फाइल को खोला जाता है तो कंप्यूटर आपको एक संदेश देता है कि ‘वर्ड अब आपके पीडीएफ फाइल को संपादन करने योग्य वर्ड फाइल में परिवर्तन करेगा’। यहां एक महत्वपूर्ण बात आपको बता दें कि पीडीएफ जितने टैक्स्ट होंगे, केवल उसी को एमएस वर्ड संपादन योग्य टैक्स्ट में परिवर्तन करेगा। यदि पीडीएफ में चार्ट या अन्य ग्राफिक्स होंगे, तो उसे एक छवि के रूप में दिखाया जाता है। चार्ट या अन्य ग्राफिक्स को संपादित नहीं किया जा सकता है। पीडीएफ फाइल को वर्ड में परिवर्तन करने में कंप्यूटर बहुत कम समय लेता है। 


पीडीएफ से वर्ड में परिवर्तित होने के बाद इस फाइल के टैक्स्ट को आप संपादित (एडिट) कर सकते हैं। 


देखा! पीडीएफ को संपादन योग्य वर्ड में परिवर्तित किया जा सकता है और वो भी बिना झंझट। 

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